आगरा : माननीय उच्च न्यायालय, लखनऊ द्वारा जनहित याचिका में पारित आदेश में ध्वनि प्रदूषण(विनियमन और नियंत्रण) नियम, 2000 के प्रावधानों का कड़ाई से अनुपालन कराये जाने के लिए अपर जिलाधिकारी नगर श्री के0पी0 सिंह की अध्यक्षता में कलेक्ट्रेट सभागार में सम्बन्धित अधिकारियों के साथ बैठक सम्पन्न हुई। बैठक में अपर जिलाधिकारी नगर ने ऐसे सभी धार्मिक स्थलों तथा सार्वजनिक स्थलों जहां स्थायी रुप से लाउड स्पीकर/लोक संबोधन प्रणाली या अन्य किसी प्रकार के ध्वनि प्रसारक यन्त्र का प्रयोग किया जाता है, का राजस्व/पुलिस अधिकारियों की टीम बनाकर चिन्हित किया जाय। उन्होंने कहा कि चिन्हिकरण के समय, जो टीम इन स्थलों पर जायेगी, वो यह ज्ञात करेगी कि इनमें से कितने धार्मिक स्थल या सार्वजनिक स्थल पर ध्वनि विस्तारक यन्त्र बिना अनुमति के प्रयोग में लाये जा रहे है।
इस टीम के द्वारा ऐसे सभी धार्मिक स्थल/सार्वजनिक स्थल के प्रबन्धकों को दिनांक 15 जनवरी 2018 से पूर्व अनुमति प्राप्त करने के लिए निर्धारित आवेदन का प्रारुप भी चिन्हिकरण के समय ही हस्तगत करा दिया जाय। उन्होंने कहा कि यदि इन प्रबन्धकों द्वारा निर्धारित प्रारुप में आवेदन प्रस्तुत किया जाता है, तो उनको नियमानुसार अनुमति 05 कार्य दिवस में स्थानीय थाना एवं तहसील आदि से आवश्यक रिपोर्ट प्राप्त कर निर्धारित प्रारुप में जारी किया जाय।
उन्होंने कहा कि ऐसे धार्मिक स्थल/सार्वजनिक दिनांक 15 जनवरी 2018 तक अनुमति नही प्राप्त करते है, तो उनके विरुद्ध ध्वनि प्रदूषण (विनियमन और नियंत्रण) नियम, 2000 यथासंशोधित के प्राविधानों के अन्तर्गत कार्यवाही करते हुए मा0 न्यायालय के निर्देशानुसार ऐसे धार्मिक स्थल/सार्वजनिक स्थल से ध्वनि विस्तारक यन्त्रों को दिनांक 20 जनवरी 2018 तक उतरवाने की कार्यवाही की जाय। बैठक में पुलिस अधीक्षक क्राइम श्री मनोज सोनकर, नगर मजिस्ट्रेट श्री दिलीप कुमार त्रिगुणायत सहित अन्य सम्बन्धित अधिकारीगण उपस्थित थे।