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लड़की पक्ष ने बारातियों को बंधक बनाया... मामला संगीन था पढ़े

उत्तर प्रदेश के मैनपुरी जिले में  दी की सारी रस्में देर रात हंसी-खुशी संपन्न हुईं। मंगलवार सुबह जब विदाई की रस्म हो रही थी। तभी लेनदेन को लेकर मामूली बात पर दूल्हे का चाचा सुरेश भड़क गया। उसने कहा कि अगर लड़के में कमी नहीं होती तो शादी शान से होती। इतनी बात सुनते ही दुल्हन उसके पिता व भाई बिगड़ गए। उन्होंने लड़के के चाचा से पूछताछ की। जानकारी करने पता चला कि दूल्हे के विरुद्ध पांच माह पूर्व जनपद एटा में ही लड़की भगाने का मामला दर्ज हुआ था। 

इस मामले में वह जेल भी जा चुका है। जानकारी होने के बाद विदाई को रोक दिया गया। वहीं दुल्हन देवलता ने भी ससुराल जाने से साफ इनकार कर दिया। इसके बाद खर्चे को लेकर दोनों पक्षों में विवाद हो गया। 
विदाई के वक्त लड़की वालों को पता चला कि दूल्हे के खिलाफ लड़की भगाने की रिपोर्ट दर्ज है, तो दुल्हन ने ससुराल जाने से इनकार कर दिया। इस बीच लेनदेन को लेकर भी दोनों पक्षों में विवाद हुआ। 

लड़की पक्ष के लोगों ने दूल्हा सहित अन्य बारातियों को बंधक बना लिया। बुधवार को पुलिस की मौजूदगी में दोनों पक्षों के बीच हुई पंचायत के बाद विवाद शांत हुआ और बारात को बिना दुल्हन के लौटना पड़ा।
खर्च हुए रुपये मांग रहे थे लड़की पक्ष के लोगों ने बारात में आए कई रिश्तेदार व खास बारातियों को बंधक बना लिया गया। मंगलवार को दोनों पक्षों के बीच बातचीत भी हुई, लेकिन खर्चे का रुपया न मिलने तक किसी को भी न छोड़ने की बात कही गई। 

बुधवार शाम पुलिस गांव पहुंची। वहां दूल्हा समेत उसके पक्ष के करीब 15-20 लोग जमीन पर बैठे हुए थे। पुलिस ने समझाने का प्रयास किया, लेकिन ग्रामीण दूल्हा व अन्य लोगों को बिना हिसाब के छोड़ने को तैयार नहीं हुए। न ही कोई थाने चलने को तैयार हुआ। पुलिस की मौजूदगी में गांव में पंचायत शुरू हुई। लड़का पक्ष के जेवर गांव में ही ग्राम प्रधान के यहां रखवा दिए गए। दूल्हा और उसके पिता की पिटाई

तय हुआ कि 82 हजार रुपये देने के बाद जेवर दिया जाएगा। दो दिन बाद दूल्हा व बंधक बनाए गए लोग बिना दुल्हन की वापस लौट गए। गांव बुर्राचक सहारा में बारात को बंधक बनाए जाने की सूचना मिलने के बाद पुलिस गांव के लिए रवाना हो गई। गांव के ही कुछ लोगों ने बताया कि इस बीच दुल्हन पक्ष के लोगों व कुछ ग्रामीणों ने दूल्हा व उसके पिता के साथ मारपीट कर दी। 
                            
बिछवां के थाने के थानाध्यक्ष आरके सिंह ने बताया कि दूल्हा द्वारा लड़की भगाए जाने की जानकारी होने पर दुल्हन ने ससुराल जाने से इनकार कर दिया। बारात को बंधक नहीं बनाया गया था, बल्कि कुछ रिश्तेदार वहां पंचायत के लिए आए हुए थे। दोनों पक्षों में लेन देन को लेकर विवाद था जो निपट गया है।